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Raksha Bandhan Par Nibandh
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Rakshabandhan Per Nibandh
Overview
- प्रस्तावना
- त्यौहार मनाए जाने का कारण
- रक्षाबंधन का महत्व
- रक्षाबंधन को मनाने का तरीका
- उपसंहार
Raksha Bandhan Essay in Hindi
प्रस्तावना
त्यौहार मनाने की परंपरा हमारे भारत में प्राचीन काल से ही रही है. इन्हीं मनाए जाने वाले त्यौहारों में रक्षाबंधन का त्योहार भी एक प्रमुख त्यौहार है. रक्षाबंधन हिंदुओं के प्रमुख त्योहारों में से एक है. प्राचीन काल में ब्राह्मण लोग अपने यजमानो के हाथों में मंगल-सूत्र (अच्छी कामना करने के लिए) बांधकर उनके लिए सुख की कामना करते थे. बाद में जाकर यह त्यौहार-भाई बहनों का त्यौहार बन गया.
त्यौहार मनाए जाने का कारण
रक्षाबंधन को मनाए जाने के पीछे अनेक पौराणिक कथाएं जुड़ी हुई है. राजा बलि और वामन अवतार भगवान विष्णु की कथा इसमें सबसे लोकप्रिय मानी जाती है. वैसे तो प्राचीन समय के दौरान वैदिक आचार्य अपने सभी शिष्यों के हाथों में रक्षा सूत्र बांधकर उन्हें वेद शास्त्र में पारंगत करते थे. लेकिन समय बीतता गया और समय के साथ-साथ धीरे धीरे इस त्यौहार ने सामाजिक रूप धारण कर लिया. ब्राह्मण लोग अपनी जीविका प्राप्त करने के लिए सक्षम और समर्थ व्यक्तियों के हाथों में रक्षा सूत्र बांधकर अपनी रक्षा की कामना करते थे. इसके अतिरिक्त भी रक्षाबंधन के कई सारे अन्य महत्व उल्लेख में मिलते हैं. क्योंकि मध्यकाल में भी मेवाड़ की बहादुर महारानी कर्मावती ने मुगल राजा हुमायूं को एक राखी भेज कर रक्षा करने का निमंत्रण दिया था. मुसलमान होते हुए भी हुमायूं ने राखी का सम्मान करके रक्षा की थी. इसी तरह आज भी कोई भी बहन अपने भाई को राखी बांध कर रक्षा की कामना करती है.
रक्षाबंधन का महत्व
रक्षाबंधन का शाब्दिक अर्थ होता है रक्षा करने वाला बंधन. हमारे देश भारत में भाई बहनों के बीच स्नेह और कर्तव्य की भूमिका सिर्फ 1 दिन की मोहताज नहीं है लेकिन रक्षाबंधन के पौराणिक और ऐतिहासिक महत्व के कारण यह दिन पवित्र बन जाता है. हजारों वर्षों से चला आ रहा यह रक्षाबंधन का पावन त्यौहार आज भी बड़े हर्षोल्लास के साथ हमारे देश में मनाया जाता है. रक्षाबंधन का त्यौहार हिंदी महीने के श्रावण मास की पूर्णिमा के दिन और अंग्रेजी महीने के जुलाई या अगस्त महीने में मनाया जाता है. यह त्यौहार भाई-बहन के प्यार का एक अद्वितीय प्रतीक है. रक्षाबंधन के इस पवित्र त्यौहार को भारत के साथ-साथ विदेशों में भी मनाया जाता है. रक्षाबंधन के महत्व को कई हजार पन्नों में लिखा जा सकता है.
रक्षाबंधन को मनाने का तरीका
रक्षाबंधन का त्यौहार पवित्र श्रावण महीने में पड़ता है जो की पूर्णिमा की तिथि को पड़ता है. इस दिन भाई बहन नहा धोकर अच्छे-अच्छे नए-नए कपड़े पहनते हैं. जब शुभ मुहूर्त आता है तब बहन अपने भाई के दाहिने हाथ में कलाई पर राखी बांधी है और उससे पहले भाई को चंदन और कुमकुम का एक तिलक भी लगाती है. जिसके बाद भाई की कलाई पर राखी बांध कर उसके आरती उतारती है और फिर उसे अपने हाथों से मिठाई भी खिलाती है. जिसके बाद भाई अपनी बहन को उपहार स्वरूप कोई तोहफा, कोई प्रिय वस्तु या धन देता है. इस दिन घर में कई तरह के नए-नए पकवान और मिठाइयां बनती है. इस दिन पापा की बहने भी आती है जिन्हें हम बुआ जी कहते हैं. सचमुच इस दिन सबका मन प्रसन्न और प्रफुल्लित रहता है. वास्तव में रक्षाबंधन का त्यौहार भाई बहनों के बीच का पवित्र संबंधों का त्यौहार है.
उपसंहार
वर्तमान समय में रक्षाबंधन का त्योहार हमारी संस्कृति कि एक अद्वितीय पहचान बन चुका है. हमारे भारत देश में इस त्यौहार को बहनों का त्यौहार भी कहा जाता है लेकिन कुछ भाइयों के हाथों में राखी नहीं बन पाती है क्योंकि बहुत सारे लोग ऐसे होते हैं कि इस दुनिया में लड़कियों को आने ही नहीं देते हैं. आज के समय में यह बहुत ही शर्मनाक बात है क्योंकि हमारे देश में कन्या पूजन का विधान शास्त्रों में दिया हुआ है वहीं दूसरी तरफ लोग कन्या भ्रूण हत्या जैसा महापाप करते हैं. लेकिन सचमुच यह त्यौहार हमें इस बात की याद दिलाता है कि हमारे जीवन में बहनों का कितना बड़ा महत्व है.
Essay on Raksha Bandhan in Hindi
हमारे सभी प्रिय विद्यार्थियों को इस Raksha Bandhan Essay से जरूर मदद हुई होगी यदि आपको यह Raksha Bandhan Par Nibandh अच्छा लगा है तो कमेंट करके जरूर बताएं कि आपको यह Raksha Bandhan Essay कैसा लगा? हमें आपके कमेंट का इंतजार रहेगा और आपको अगला Essay कौन से टॉपिक पर चाहिए इस बारे में भी आप कमेंट बॉक्स में बता सकते हैं ताकि हम आपके अनुसार ही अगले टॉपिक पर आपके लिए निबंध ला सकें.